मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल की पहल, गुणवत्तापूर्ण सस्ती दवाओं से बचत का आंकड़ा 100 करोड़ के पार
श्री धन्वंतरि जेनेरिक मेडिकल स्टोर जरूरतमंदों और गरीबों के लिए जीवन रक्षक बन रहा है
मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल की पहल पर सभी आयु वर्ग के लोगों को सस्ती एवं गुणवत्तापूर्ण जेनरिक दवाइयां उपलब्ध कराने के उद्देश्य से संचालित श्री धन्वंतरि जेनेरिक मेडिकल स्टोर्स योजना में अब तक 5000 रुपये से अधिक की बचत हो चुकी है. जेब को बड़ी राहत मिली है। प्रदेश के सभी नगरीय निकायों में संचालित इस योजना के तहत नामी कंपनियों की जेनरिक दवाएं 50 से 70 प्रतिशत कम कीमत पर उपलब्ध कराई जाती हैं। धनवंतरी दवा दुकानों में जरूरतमंदों को सर्दी, खांसी, बुखार, ब्लड प्रेशर, गंभीर बीमारियों के साथ इंसुलिन, एंटीबायोटिक्स, सर्जिकल सामान भी रियायती दर पर उपलब्ध कराया जा रहा है।
मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल की पहल पर नगरीय प्रशासन एवं विकास विभाग द्वारा श्री धन्वंतरि जेनेरिक मेडिकल स्टोर योजना 20 अक्टूबर 2021 से शुरू की गई है. योजना के तहत कुल 169 में 194 श्री धन्वंतरि मेडिकल स्टोर खोले गए हैं. राज्य के शहरी निकाय। सरकारी डॉक्टरों के लिए अस्पताल में इलाज के लिए आने वाले मरीजों को जेनेरिक दवाएं लिखना अनिवार्य कर दिया गया है। 165.59 करोड़ एम.आर.पी. योजना से अब तक जरूरतमंद लोगों को दवाओं की बिक्री पर 106 करोड़ 53 लाख रुपये की छूट दी गई है। गौरतलब है कि प्रदेश के विभिन्न नगरीय निकायों में संचालित धन्वंतरी जेनेरिक मेडिकल शॉप से 50 लाख 80 हजार से अधिक नागरिकों ने सस्ती दवाइयां खरीदी हैं. जिससे लोगों को काफी राहत मिली है और कम कीमत पर दवाएं उपलब्ध होने से बचत भी हो रही है. श्री धन्वंतरि जेनेरिक मेडिकल स्टोर्स में दवाओं की उपलब्धता एवं संचालन व्यवस्था की निगरानी करते नगरीय प्रशासन मंत्री डाॅ. शिवकुमार डहरिया करते रहते हैं। उन्होंने विभागीय अधिकारियों को निर्देशित किया है कि नागरिकों को स्वास्थ्य सुविधाओं के लिये उच्च गुणवत्ता वाली जेनरिक दवाइयां रियायती दर पर उपलब्ध कराने के लिये सभी आवश्यक व्यवस्थायें निरंतर करें।
नगरीय प्रशासन विभाग के अधिकारियों ने बताया कि रायपुर जिले में 20, गरियाबंद में चार, बलौदाबाजार-भाटापारा में सात, धमतरी में सात, महासमुंद में छह, दुर्ग में 19, बालोद में आठ, बेमेतरा में आठ, राजनांदगांव में पांच, खैरागढ़-छुईखदान में तीन धनवंतरी हैं. गंडई में एक, मोहला-मानपुर-अंबागढ़ में एक, कबीरधाम में छह, बिलासपुर में 10 और गौरेला-पेंड्रा-मरवाही जिले में दो जेनरिक मेडिकल स्टोर संचालित किए जा रहे हैं. इसी तरह मुंगेली में चार, कोरबा में छह, जांजगीर-चांपा में नौ, सक्ती में छह, रायगढ़ में आठ, सारंगढ़-बिलाईगढ़ में पांच, जशपुर में पांच, सरगुजा में चार, बलरामपुर में पांच, सूरजपुर में छह, कोरिया में पांच मनेंद्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर में तीन, बस्तर में तीन, कोंडागांव में तीन, नारायणपुर में एक, कांकेर में छह, दंतेवाड़ा में पांच धनवंतरी, सुकमा में तीन और बीजापुर जिले में तीन जेनेरिक मेडिकल स्टोर संचालित हो रहे हैं. सरकारी डॉक्टरों के लिए अस्पताल में इलाज के लिए आने वाले मरीजों को जेनेरिक दवाएं लिखना अनिवार्य कर दिया गया है।