चंद्रशेखरन ने जताई आशंका– अमेरिकी टैरिफ का कुछ हिस्सा रहेगा जारी

टाटा : टाटा संस के चेयरमैन एन. चंद्रशेखरन ने मंगलवार को कहा कि उन्हें लगता है अमेरिका की तरफ से लगाए गए टैक्स (टैरिफ) का कुछ हिस्सा आगे भी बना रहेगा। उन्होंने साफ किया कि इस वक्त असली दिक्कत टैरिफ नहीं हैं, बल्कि असल परेशानी उस सिस्टम के उलट जाने की है, जो बीते करीब 60 सालों से चला आ रहा था और जिससे दुनिया पूरी तरह से अभ्यस्त हो चुकी थी। उन्होंने बताया कि ग्लोबलाइजेशन का मतलब यही था कि जहां चीजें सस्ती या कुशलता से बन सकती हैं, वहां बनाई जाएं और जहां उनकी जरूरत हो, वहां बेची जाएं। चंद्रशेखरन ने कहा कि आज के समय में सप्लाई चेन आपस में जुड़ी हुई है और चीजें अचानक से नहीं बदली जा सकतीं क्योंकि हर देश को स्किल्ड लोग और कच्चा माल जुटाने जैसी कई चुनौतियों का सामना करना पड़ता है। उन्होंने कहा, “मैं अपनी राय में मानता हूं कि ये टैरिफ पूरी तरह से खत्म नहीं होंगे, क्योंकि एक बार जब कोई फैसला ले लिया जाता है तो उसका कुछ हिस्सा तो रहता ही है।” उन्होंने आगे कहा, “…अब ये कहां जाकर थमेगा, क्या हर देश में बराबर स्तर पर रुकेगा या सिर्फ दो देशों के बीच सुलझेगा, ये तो समय बताएगा।” उन्होंने बताया कि टाटा ग्रुप इलेक्ट्रिक व्हीकल, बैटरी और सेमीकंडक्टर जैसे नए क्षेत्रों में सात नई फैक्टरी बना रहा है, जो 2027 तक शुरू हो जाएंगी और इनमें पांच लाख लोगों को रोजगार मिलेगा।