“‘हाउडी मोदी’ से लेकर अमेरिका फर्स्ट तक, ट्रंप पर पीएम मोदी का बड़ा बयान”

पीएम मोदी ने की ट्रंप की तारीफ, कहा- ‘हम दोनों का देश पहले’
अमेरिकी पॉडकास्टर लेक्स फ्रीडमैन के साथ बातचीत में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के साथ अपनी दोस्ती और जुड़ाव पर खुलकर बात की। उन्होंने ट्रंप की साहस और दृढ़ता की जमकर तारीफ की।जब पीएम मोदी से पूछा गया कि एक नेता और दोस्त के रूप में ट्रंप में उन्हें क्या पसंद है, तो उन्होंने कहा, “हम दोनों अपने देश को सबसे ऊपर रखते हैं। हमारे लिए राष्ट्र ही सर्वोपरि है और हम अपने-अपने देशों की सेवा के लिए पूरी तरह समर्पित हैं। यही चीज हमें जोड़ती है।”
“ट्रंप को गोली लगी, फिर भी अमेरिका के लिए डटे रहे”
पीएम मोदी ने ट्रंप पर हुए हमले (जुलाई 2024) का जिक्र करते हुए कहा, “जब उन पर गोली चली, फिर भी वे अमेरिका के लिए अडिग रहे। उनका जीवन पूरी तरह से अपने देश के लिए समर्पित है। गोली लगने के बाद भी उन्होंने अमेरिका के लिए जीने और लड़ने का जज्बा दिखाया, जो उनकी ‘अमेरिका फर्स्ट’ सोच को दर्शाता है। ठीक उसी तरह जैसे मैं ‘इंडिया फर्स्ट’ में विश्वास करता हूं। इसी वजह से मैं ट्रंप के साथ एक गहरा जुड़ाव महसूस करता हूं।”
‘हाउडी मोदी’ इवेंट में ट्रंप की दरियादिली का किया जिक्र
पीएम मोदी ने 2019 के ह्यूस्टन इवेंट ‘हाउडी मोदी’ का भी जिक्र किया। उन्होंने कहा, “हमारा एक कार्यक्रम था ‘हाउडी मोदी’, जिसमें मैं और राष्ट्रपति ट्रंप दोनों मौजूद थे। पूरा स्टेडियम भरा हुआ था। जब मैं भाषण दे रहा था, तो ट्रंप जनता के बीच बैठकर मुझे सुन रहे थे। ये उनका बड़प्पन है कि अमेरिका के राष्ट्रपति ने जनता के बीच बैठकर भाषण सुना।” उन्होंने आगे बताया, “जब मेरा भाषण खत्म हुआ तो मैंने ट्रंप से कहा कि चलिए स्टेडियम का एक चक्कर लगाते हैं और लोगों का अभिवादन करते हैं। उन्होंने तुरंत हामी भर दी और मेरे साथ भीड़ में चले। अमेरिकी सुरक्षा के लिए यह बड़ी बात थी क्योंकि अमेरिकी राष्ट्रपति आमतौर पर ऐसा नहीं करते। उस समय मुझे समझ आया कि ट्रंप में हिम्मत है, वे अपने फैसले खुद लेते हैं और उन्हें मोदी पर भी भरोसा है।”
ऐसे समय में किया समर्थन, जब ट्रंप की हो रही आलोचना
पीएम मोदी ने ट्रंप का समर्थन ऐसे समय में किया है जब अमेरिका के सहयोगी देश, खासतौर पर यूरोप और कनाडा, उनकी नीतियों की आलोचना कर रहे हैं। ट्रंप पर आरोप है कि उनकी नीतियां अमेरिका को अलगाववाद की ओर धकेल रही हैं। हालांकि, भारत भी ट्रंप की टैरिफ पॉलिसी से प्रभावित हुआ है, लेकिन उसे उम्मीद है कि व्यापार समझौते के तहत टैरिफ में कुछ राहत मिल सकती है।