कैबिनेट का बड़ा फैसला: एथेनॉल की खरीद दर 3% बढ़ी

एथेनॉल: सरकार ने बढ़ाया एथेनॉल खरीद मूल्य, किसानों को फायदा, पेट्रोल में जल्द होगी 20% मिलावट केंद्र सरकार ने बुधवार को एथेनॉल की खरीद कीमत में 3% की बढ़ोतरी करने का फैसला किया है। अब 2024-25 एथेनॉल आपूर्ति वर्ष (नवंबर-अक्टूबर) के लिए सार्वजनिक क्षेत्र की तेल विपणन कंपनियां (OMCs) निर्माताओं से एथेनॉल की खरीद ₹57.97 प्रति लीटर की दर से करेंगी, जो पहले ₹56.58 प्रति लीटर थी। इस फैसले से चीनी और एथेनॉल से जुड़ी कंपनियों के शेयरों में तेजी देखने को मिली। कैबिनेट बैठक के बाद केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने बताया कि इस फैसले से किसानों को सीधा लाभ मिलेगा और पेट्रोल में एथेनॉल मिलाने के बढ़ते लक्ष्य को पूरा करने के लिए पर्याप्त एथेनॉल उपलब्ध हो सकेगा। उन्होंने यह भी बताया कि सरकार ने पेट्रोल में 20% एथेनॉल मिलाने के लक्ष्य को पहले से तय 2030 के बजाय अब 2025-26 तक पूरा करने का निर्णय लिया है।
अगस्त 2024 तक पेट्रोल में एथेनॉल मिश्रण 13% तक पहुंच चुका था। मंत्री ने जानकारी दी कि मौजूदा एथेनॉल आपूर्ति वर्ष के अंत तक यह आंकड़ा 18% तक पहुंचने की उम्मीद है। 2013-14 में सार्वजनिक क्षेत्र की तेल कंपनियों द्वारा 38 करोड़ लीटर एथेनॉल की खरीद की गई थी, जो 2023-24 में बढ़कर 707 करोड़ लीटर हो गई है। इसी दौरान पेट्रोल में औसत एथेनॉल मिश्रण 14.60% दर्ज किया गया। सरकार के इस फैसले से एथेनॉल उत्पादन से जुड़ी कंपनियों के शेयरों में उछाल आया। श्री रेणुका शुगर्स के शेयर 5.76% चढ़ गए, बलरामपुर चीनी मिल्स के शेयर में 3.45% की तेजी आई, जबकि त्रिवेणी इंजीनियरिंग और ईआईडी-पैरी के शेयरों में करीब 4% का उछाल दर्ज किया गया। केंद्रीय पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने कहा, “हमने एथेनॉल आपूर्ति वर्ष 2021-22 के लिए 10% मिश्रण लक्ष्य तय समय से पांच महीने पहले जून 2022 में पूरा कर लिया था। विभिन्न नीतिगत प्रयासों से हमने 19% से अधिक मिश्रण हासिल कर लिया है और 2030 के बजाय 2026 तक 20% लक्ष्य प्राप्त कर लेंगे।” पिछले दस वर्षों में एथेनॉल मिश्रण की नीति से तेल कंपनियों ने करीब ₹1.13 लाख करोड़ (14.4 बिलियन डॉलर) की विदेशी मुद्रा की बचत की है और लगभग 193 लाख मीट्रिक टन कच्चे तेल की खपत को रोका है। यह जानकारी पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्रालय द्वारा साझा की गई है।